बीते 26 अप्रैल को तिमारपुर में प्रगतिशील युवा संगठन के सदस्यों ने भगत सिंह और बाबा साहब डॉ. भीमराव अंबेडकर की स्मृति में एक सांस्कृतिक कार्यक्रम का आयोजन किया. पेश है उस कार्यक्रम में नन्हे-मुन्ने बच्चों द्वारा गाया गया यह भोजपुरी गींत. मेरे ख़याल से साउंड की क्वालिटी ऐसी है कि थोड़ा ध्यान लगाकर सुनने से बात समझ में आ जाती है. बहुत दिनों बाद भोजपुरी सुन रहा था. पालथी मारकर बैठा था, बच्चों के गायन ने जांघ पर हथेलियों की थपकियों के लिए मजबूर कर दिया. आप भी आनंद लें.
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Sach likhaa aapane
ReplyDelete'थोड़ा ध्यान लगाकर सुनने से बात समझ में आ जाती है.'
बात से ज्याद स्पिरिट कनवे हो रही है। आभार दोस्त।
ReplyDeleteआवाज खूब साफ नहीं है ..
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